राष्ट्रीय करेंट अफेयर्स 13 March 2019
फेसबुक ने स्टार्टअप्स के लिए लांच किये फेसबुक हब्स
हाल ही में सोशल मीडिया प्लेटफार्म फेसबुक ने स्टार्टअप्स के लिए फेसबुक हब्स लांच किये, इन हब्स का उद्देश्य उभरते हुए उद्यमियों के नवोन्मेष इत्यादि कार्य के लिया सहायता प्रदान करना है।
फेसबुक हब्स
- फेसबुक हब्स द्वारा उभरते हुए उद्यमियों के लिए प्रशिक्षण, कार्यशाला तथा विचार विमर्श का आयोजन किया जायेगा, यह आयोजन दिल्ली, गुरुग्राम, नॉएडा, बेंगलुरु, मुंबई हैदराबाद, पुणे, नवी मुंबई तथा गोवा में आयोजित किये जायेंगे।
- इसके लिए फेसबुक ने ऑनलाइन ऑफिस स्पेस रेंटल फर्म “91स्प्रिंगबोर्ड” से हाथ मिलाया है।
- फेसबुक हब्स के द्वारा उभरते हुए उद्यमियों को कौशल विकास का अवसर भी मिलेगा।
- फेसबुक हब्स डेवलपर्स, क्रिएटर्स, छोटे तथा माध्यम बिज़नेस के लिए प्रशिक्षण व मेंटरिंग उपलब्ध करवाएगा।
फेसबुक
फेसबुक विश्व की सबसे बड़ी सोशल नेटवर्किंग कंपनी है, व्हाट्सएप्प और इन्स्टाग्राम इसकी सब्सिडियरी हैं। फेसबुक की स्थापना 4 फरवरी, 2004 को की गयी थी। इसके सह- संस्थापक मार्क जकरबर्ग, एदुआर्दो सेवरिन, एंड्रू मैककॉलम, डस्टिन मोस्कोवित्ज़ और क्रिस ह्यूज़ हैं। फेसबुक का मुख्यालय अमेरिका के कैलिफ़ोर्निया के मेनलो पार्क में स्थित है। जनवरी 2018 के आंकड़ों के अनुसार फेसबुक के लगभग 2.2 अरब यूजर हैं।
विश्व स्वर्ण परिषद् रिपोर्ट
हाल ही में विश्व स्वर्ण परिषद् रिपोर्ट जारी की गयी, इस रिपोर्ट में विभिन्न देशों के स्वर्ण भंडारों की सूची जारी की गयी है, इस रिपोर्ट के मुख्य बिंदु निम्नलिखित हैं :
- इस सूची में स्वर्ण भण्डार के मामले में भारत को 11वां स्थान प्राप्त हुआ है, भारत का अनुमानित स्वर्ण भंडार 607 टन है।
- देशों में सूची में भारत को 10वां प्राप्त होता, परन्तु इस सूची में अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष को भी शामिल किया गया है। अंतर्राष्ट्रीय मुद्रा कोष का स्वर्ण भण्डार 2,814 टन है, IMF इस सूची में तीसरे स्थान पर है।
- इस सूची में पहले स्थान पर अमेरिका है, अमेरिका का स्वर्ण भंडार 8,133.5 टन है। अमेरिका के बाद दूसरे स्थान पर 3,369.7 टन के साथ जर्मनी है।
- चीन और जापान का स्वर्ण भंडार भी भारत से अधिक है, चीन का स्वर्ण भण्डार 1,864.3 टन तथा जापान का स्वर्ण भंडार 765.2 टन है।
- इस रिपोर्ट में कहा गया है कि जनवरी में 48 टन की खरीद तथा 13 टन के विकारी से वैश्विक स्वर्ण बंधार में 35 टन की वृद्धि हुई।
विश्व स्वर्ण परिषद् स्वर्ण उद्योग का बाज़ार विकास संगठन है। इसका उद्देश्य सोने की मांग को स्थिर रखना तथा उद्योग नेतृत्व को बढ़ावा देना है। विश्व स्वर्ण परिषद् के सदस्य स्वर्ण खनन कंपनियां हैं।

तमिलनाडु की इरोड हल्दी को मिला भौगोलिक संकेत (GI) टैग
तमिलनाडु के इरोड की हल्दी को भौगोलिक संकेत (GI) टैग प्रदान किया गया। इसके लिए इरोड मंजल वनिगर्कल मातृम किदान्गु उरीमैयालार्गल संगम ने आवेदन किया था। इसकी खेती तमिलनाडु में संगम काल से की जा रही है। तमिलनाडु के इरोड तथा कोइम्बतूर जिले में 70-75% इरोड हल्दी का उत्पादन किया जाता है। इरोड हल्दी का उत्पादन 7700 हेक्टेयर क्षेत्र में किया जाता है। 2008-09 में इरोड हल्दी का अनुमानित उत्पादन 39,000 टन था।
विशिष्ट भौगोलिक संकेत (Geographical Indication)
GI टैग अथवा पहचान उस वस्तु अथवा उत्पाद को दिया जाता है जो कि विशिष्ट क्षेत्र का प्रतिनिधत्व करती है, अथवा किसी विशिष्ट स्थान पर ही पायी जाती है अथवा वह उसका मूल स्थान हो। GI टैग कृषि उत्पादों, प्राकृतिक वस्तुओं तथा निर्मित वस्तुओं उनकी विशिष्ट गुणवत्ता के लिए दिया जाता है। यह GI पंजीकरण 10 वर्ष के लिए वैध होता है, बाद में इसे रीन्यू करवाना पड़ता है। कुछ महत्वपूण GI टैग प्राप्त उत्पाद दार्जीलिंग चाय, तिरुपति लड्डू, कांगड़ा पेंटिंग, नागपुर संतरा तथा कश्मीर पश्मीना इत्यादि हैं।
राष्ट्रीय विद्रोह दिवस : तिब्बत
हाल ही में सैंकड़ों की संख्या में तिब्बती आन्दोलनकारियों ने भारत में संयुक्त राष्ट्र के कार्यालय में विरोध प्रदर्शन किया तथा ज्ञापन सौंपा। यह ज्ञापन तिब्बत के राष्ट्रीय विद्रोह दिवस की 60वीं वर्षगाँठ के दौरान सौंपा गया।
राष्ट्रीय विद्रोह दिवस : तिब्बत
10 मार्च को तिब्बती आन्दोलनकारियों द्वारा राष्ट्रीय विरोध दिवस के रूप में मनाया जाता है। 10 मार्च, 1959 को हज़ारों तिब्बतियों ने ल्हासा की सड़कों पर चीन के तिब्बत पर अवैध कब्ज़े का विरोध किया।
चीन ने तिब्बत पर 1951 में आक्रमण किया। तिब्बतियों ने 1937 में दलाई लामा को गद्दी पर बिठाया था। इसके कारण चीन तथा तिब्बत में तनाव में वृद्धि हुई। इसके बाद चीनी अधिकारियों ने दलाई लामा को बिना अंग रक्षकों के उनके सामने प्रस्तुत होने का बुलावा भेजा। संभावित षड़यंत्र से दलाई लामा की रक्षा करने के लिए हज़ारों तिब्बतियों ने पोटाला पैलेस (दलाई लामा का निवास स्थान) को घेर लिया। चीनी सैनिकों ने तिब्बतियों में गोलीबारी की, जिसमे हज़ारों तिब्बती मारे गये। 17 मार्च की रात्री को दलाई लामा हिमालय को लांघते हुए भारत में आये और यहाँ पर शरण ली।
वस्त्रदान अभियान ने गिनीज़ विश्व रिकॉर्ड बनाया
उदयपुर के राजसी परिवार द्वारा शुरू किये गये वस्त्रदान अभियान ने दान के लिए एकत्रित किये गये सबसे अधिक कपड़ों द्वारा गिनीज़ विश्व रिकॉर्ड स्थापित किया। इस अभियान के तहत 3 लाख वस्त्र एकत्रित किये गये।
वस्त्रदान अभियान
- वस्त्रदान अभियान के तहत 76,000 लोगों ने 3,29,250 कपड़े दान किये गये, इन कपड़े ज़रुरतमंद लोगों में बाँटें गये।
- इस अभियान में 120 विद्यालय, 15 कॉलेज तथा 30 NGO भी शामिल थे।
इस वस्त्रदान अभियान के लिए गिनीज़ विश्व रिकॉर्ड का प्रमाणपत्र महान राजपूत शासक महाराणा प्रताप के वंशज लक्ष्यराज सिंह को प्रदान किया गया है। इस अभियान की शुरुआत ज़रुरतमंद लोगों की सहायता करने के उद्देश्य के लिए हुई थी। इस अभियान में युवा लड़के-लड़कियों ने बढ़-चढ़ कर सहयोग किया।
DRDO ने युद्धकालीन दवाएं विकसित की
रक्षा अनुसन्धान व विकास संगठन ने हाल ही में युद्धकालीन दवाओं की श्रृंखला तैयार की है। इन दवाओं की सहायता से “गोल्डन ऑवर” को तब तक बढ़ाया जा सकता है जब तक सैनिक अस्पताल में नहीं पहुँच जाता। इन दवाओं की सहायता से पुलवामा जैसे आतंकी हमले में मृतकों की संख्या में कमी आएगी।
युद्धकालीन दवाएं
- इन दवाओं में बहते हुए घाव को रोकने के लिए, अत्याधिक शोषक पट्टी, ग्लिसरीनेटिड सेलाइन इत्यादि शामिल है, यह दवाएं जंगल अथवा ऊंचाई वाले क्षेत्रों में युद्ध के समय अथवा आतंकी हमले के समय जवानों के जीवन की रक्षा में उपयोग सिद्ध होंगीं।
- इन दवाओं से यह सुनिश्चित होगा कि युद्ध क्षेत्र से अस्पताल ले जाते समय जवानों का अधिक खून नही बहेगा।
- ग्लिसरीनेटिड सेलाइन एक किस्म का इंट्रावीनस फ्लूइड है, यह -18 डिग्री सेल्सियस तक नहीं जमता, यह ऊंचाई वाले क्षेत्रों में भीषण दुर्घटना के मामलों के लिए बेहद उपयोगी सिद्ध होगा।
- ग्लिसरीनेटिड सेलाइन जीवन बचाने के लिए बेहद उपयोगी है, इससे चिकित्सकों को घायल व्यक्ति के उपचार के लिए अतिरिक्त समय मिल सकेगा ।
इन दवाओं की सहायता से युद्ध अथवा आतंकी हमले के समय में जवानों के जीवन की रक्षा की जा सकेगी तथा नुकसान को न्यूनतम किया जा सकेगा।
स्मार्ट सिटी सूचक सर्वेक्षण
आयरलैंड की जॉनसन कंट्रोल्स बिल्डिंग टेक्नोलॉजीज एंड सोल्यूशंस ने हाल ही में द्वितीय वार्षिक स्मार्ट सिटी सूचक सर्वेक्षण रिपोर्ट जारी की। इस सर्वेक्षण में संगठनात्मक बाधक, टेक्नोलॉजी ट्रेंड तथा स्मार्ट सिटी समाधान के क्रियान्वयन का सर्वेक्षण किया गया है। इस रिपोट के लिए 330 शहरों का सर्वेक्षण किया गया है। यह सर्वेक्षण 20 देशों में किया गया है, इसमें अर्जेंटीना, ब्राज़ील, कनाडा, चिली, चीन, कोलंबिया, फ्रांस, अमेरिका और भारत जैसे देश शामिल हैं।
भारत के सन्दर्भ में सर्वेक्षण
इस सर्वेक्षण की रिपोर्ट में पाया गया है भारत में केवल तीन प्रतिशत भवन ही “ग्रीन बिल्डिंग” हैं। भारत में निवेश के मार्ग में सबसे बड़ी बाधा तकनीकी विशेषज्ञता की कमी तथा सुधार के लिए फण्ड की कमी है।
ग्रीन बिल्डिंगग्रीन्द बिल्डिंग से अभिप्राय पर्यावरण की दृष्टि से मैत्रीपूर्ण भवन है जिसमें निर्माण, उपयोग, रखरखाव इत्यादि के दौरान संसाधनों का उपयोग कुशलतापूर्वक किया जाये।
भारत की शुरुआत थोड़ी धीमी है परन्तु यह धीरे-धीरे रफ़्तार पकड़ रहा है। सर्वेक्षण किये गये 46% संगठन भारत में ग्रीन बिल्डिंग में स्थान किराए पर लेने के लिए सहमत हैं।
इस सर्वेक्षण में कहा गया है कि शहर लगातार उन मार्गों की खोज में हैं जिनसे पर्यावरण में सुधार तथा लागत में कमी आएगी। \
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